विगत दिनों नैनीताल-उधमसिंह नगर सीट पर चुनाव लड़ रहें उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत को लेकर भाजपाइयों के बिगड़े बोल देखने को मिले..बीजेपी विधायक ने उन्हें मरे हुआ बताते हुए सिर्फ दाह संस्कार की जरूरत बताई.इस से पूर्व भाजपा के बड़े नेता और उत्तराखंड के ही पूर्व मुख्यमंत्री भगत सिंह कोश्यारी ने हरीश रावत को 'एकलू वानर' की कहकर खूब चर्चा बटोरी.पलटवार करते हुए रावत ने भी भगत सिंह कोश्यारी को 'भागदा' और 'भीगा घुघूत' की संज्ञा दी.
हालांकि बाद में हरीश रावत ने भगत सिंह कोश्यारी को अपना बड़ा भाई बताया.लेकिन इन राजनीतिक हमलों के बीच किच्छा से भाजपा विधायक राजेश शुक्ला राजनीतिक शिष्टाचार को बनाये रखने में असफल साबित रहें.उन्होंने रावत के 'दाह संस्कार' करने की बात कह डालीं.इसे रावत समर्थकों ने 'उत्तराखंडीयत' से जोड़ भाजपा पर खूब हमलें किये.फेसबुक पर रावत ने इसका जवाब लिखा.
"....भाजपा कहती है हरीश रावत 2017 के चुनाव में मर गया है, और अब मेरा दाह संस्कार हो रहा है!! मैं उनसे कहना चाहता हूं कि मेरी राख भी उत्तराखंड के काम आएगी। मैंने उत्तराखंड की मजबूती के लिए काम किया है, चुनाव में जीत और हार होती है लेकिन हारकर के मैंने हौसला नहीं छोड़ा है और ना उत्तराखंड की सेवा का भाव छोड़ा है। मैं भाजपा का सिपाही नहीं हूं, कांग्रेस का सिपाही हूं जिसने इंदिरा गांधी और राजीव गांधी जैसे बलिदानी भी दिए हैं। यदि उत्तराखंड की भलाई के लिए मेरा बलिदान भी होता है तो मुझे कहीं कोई रंज नहीं रहेगा, मैं खुशी खुशी जहां ऊपर वाला ले जाएगा चला जाऊंगा। लेकिन मैं आप सबसे कहना चाहता हूं कि मैंने बहुत सुविचारित तरीके से यहां से चुनाव लड़ने का फैसला किया। राष्ट्रीय राजनीति में मैं जिस स्थान पर हूं वहां से यहां आना अपने आप में बड़ा फैसला है। मैंने यूं ही ये खतरा नहीं उठाया है, आप पर भरोसा है और अपने आत्मबल पर भरोसा है। मैं और ऊंचाइयों की तरफ उत्तराखंड की राजनीति को और पहचान को ले जा सकूं इसीलिए चुनाव मैदान में हूं"।
"....अब भाजपा के नेता मुझे चुनाव में हराने की ही घोषणा नहीं कर रहे हैं बल्कि मेरा दाह संस्कार करने की भी घोषणा कर रहे हैं। उनका कहना है कि मर तो मैं पहले ही गया हूं अब मेरा दाह संस्कार भी हो जाना चाहिए! धन्य हो भारतीय जनता पार्टी, अपने राजनीतिक विरोधियों के प्रति आपके भावों को सुनकर के अच्छा लगा या बुरा लगा क्या कहूं, मगर आप अपनी पार्टी की संस्कृति जाहिर कर रहे हैं"